मेवात क्षेत्र में कृषि आधारित उद्योगों का भौगोलिक अध्ययन
ग्रामीण क्षेत्रों में कृषि आधारित उद्योगों का भौगोलिक अध्ययन: मेवात क्षेत्र की मिशन सशक्तिकरण की क्षमता
by Chirnji Lal Raigar*,
- Published in Journal of Advances and Scholarly Researches in Allied Education, E-ISSN: 2230-7540
Volume 15, Issue No. 11, Nov 2018, Pages 877 - 882 (6)
Published by: Ignited Minds Journals
ABSTRACT
प्रस्तुत शोध पत्र मेवात क्षेत्र में कृषि आधारित उद्योगों के भौगोलिक अध्ययन से संबंधित है। मेवात क्षेत्र में कृषि आधारित उद्योग अधिशेष ग्रामीण श्रम को रोजगार प्रदान कर रहे हैं। ये उद्योग मेवात क्षेत्र के ग्रामीण भागों में बड़े पैमाने पर बेरोजगारी प्रच्छन्न रोजगार की समस्या को दूर करने में सक्षम हैं। मेवात क्षेत्र की मुख्य चुनौती यह है कि राजस्थान सरकार अपनी योजनाबद्ध और नीतिगत हस्तक्षेप को प्रभावी ढंग से लागू करके ग्रामीण क्षेत्रों में इसकी सामाजिक-आर्थिक संरचना, कृषि उत्पादन प्रणाली और बुनियादी कृषि विनिर्माण विशेषताओं की पहचान को कम किए बिना एक सर्वांगीण औद्योगिक विकास सुनिश्चित कर सके। अलवर एवं भरतपुर ज़िले का मेवात क्षेत्र ग्रामीण क्षेत्रों और उनके आस-पास कृषि-आधारित उद्योगों का विकसित करने, आकर्षक बनाने तथा स्थिरता प्रदान करने की क्षमता रखता है। ‘कृषि उद्योग’ एक सर्वव्यापी अभिव्यक्ति है जिसमें विभिन्न औद्योगिक, प्रसंस्करण और विनिर्माण गतिविधियों का समावेश कृषि पर आधारित कच्चे माल पर होता है और उन गतिविधियों और सेवाओं को भी शामिल किया जाता है जो कृषि से प्राप्त होती हैं। कृषि और उद्योग विकास प्रक्रिया में परस्पर एक दूसरे पर निर्भर होते हैं कृषि आधारित उद्योग आपसी सम्बन्धों के कारण एक-दूसरे के पूरक भी होते हैं। कृषि उद्योग को शक्ति प्रदान करती है। मेवात क्षेत्र के कृषि आधारित उद्योगों के अध्ययन से स्पष्ट है कि वर्ष 2017-18 में कृषि-आधारित उद्योगों का 33 प्रतिशत कुल शुद्ध मूल्य संवर्धन के लिए केवल 20 प्रतिशत साझा किया गया, भले ही कुल श्रमिकों का 40 प्रतिशत इस क्षेत्र में लगे हुए थे। वर्ष 2017-18 में मेवात क्षेत्र में कुल 1024 कृषि-आधारित इकाईयां थीं। कृषि उद्योगों की कुल संख्या में खाद्य उत्पादों और पेय पदार्थों के निर्माता कम्पनियों का 42 प्रतिशत हिस्सा है अतः मेवात क्षेत्र में कृषि-आधारित उद्योगों के विकास की बड़ी क्षमता है।
KEYWORD
मेवात क्षेत्र, कृषि आधारित उद्योग, ग्रामीण श्रम, रोजगार, सामाजिक-आर्थिक संरचना, कृषि उत्पादन प्रणाली, बुनियादी कृषि विनिर्माण, विकास, खाद्य उत्पाद, पेय पदार्थ