भारतीय इतिहास निर्माण में पुरातात्विक सामग्री का योगदान
भारतीय इतिहास में पुरातात्विक सामग्री का महत्व और सटीकता
Keywords:
भारतीय इतिहास, पुरातात्विक सामग्री, इतिहास लेखन, पुरातात्विक स्रोत, अभिलेख, स्मारक, भवन, सिक्के, मुद्राएंAbstract
इतिहास का अर्थ है निश्चित ही ऐसा हुआ होगा। अतः इतिहास लेखन स्रोतों की सहायता से ही लिखा जा सकता है। सभी प्रकार के स्रोतों में पुरातात्विक स्रोत ही सबसे महत्वपूर्ण होते हैं क्योंकि ये निष्पक्ष रूप से इतिहास निर्माण में सहायता करते हैं। हमारे देश के प्राचीन इतिहास की जानकारी के लिए हमें पुरातात्विक स्रोतों की मदद लेनी पड़ती है। इस शोध पत्र के माध्यम से शोधार्थी ‘प्राचीन भारतीय इतिहास लेखन में पुरातात्विक स्रोतों के महत्व को दर्शाना चाहता है। इसके अन्तर्गत मुख्यतः अभिलेख, स्मारक, भवन सिक्के (मुद्राएं)’ किया है। इस लेख के जरिये प्राचीन भारतीय इतिहास के निर्माण में पुरातात्विक स्रोतों के महत्व के साथ-साथ इनकी सटीकता व निष्पक्षता को दर्शाने का प्रयत्न किया है।Published
2019-02-01
How to Cite
[1]
“भारतीय इतिहास निर्माण में पुरातात्विक सामग्री का योगदान: भारतीय इतिहास में पुरातात्विक सामग्री का महत्व और सटीकता”, JASRAE, vol. 16, no. 2, pp. 914–917, Feb. 2019, Accessed: Dec. 25, 2025. [Online]. Available: https://ignited.in/index.php/jasrae/article/view/10248
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Articles
How to Cite
[1]
“भारतीय इतिहास निर्माण में पुरातात्विक सामग्री का योगदान: भारतीय इतिहास में पुरातात्विक सामग्री का महत्व और सटीकता”, JASRAE, vol. 16, no. 2, pp. 914–917, Feb. 2019, Accessed: Dec. 25, 2025. [Online]. Available: https://ignited.in/index.php/jasrae/article/view/10248






