मुंबई की सार्वजनिक इमारतों के भित्तिशिल्प: एक सांस्कृतिक निवेश

मुंबई की सार्वजनिक इमारतों के भित्तिशिल्प: संकेत, संरक्षण और समाज का प्रभाव

Authors

  • विजय गोपाल सकपाल
  • डॉ मनोज टेलर

Keywords:

मुंबई, सार्वजनिक इमारतों, भित्तिशिल्प, सांस्कृतिक, ऐतिहासिक, वास्तुकला, मूल्य, समाज, छानबीन, प्रभाव

Abstract

इस शोध पत्र का उद्देश्य मुंबई शहर में स्थित सार्वजनिक इमारतों के भित्तिशिल्प के संबंध में एक गहन अध्ययन प्रस्तुत करना है। इस शोध के माध्यम से, हम सांस्कृतिक, ऐतिहासिक और वास्तुकला के प्रतिष्ठित मूल्यों को समझने और इमारती भित्तिशिल्प के माध्यम से उन्हें समाज में स्थापित करने के लिए एक अवसर प्रदान करने का प्रयास करेंगे। यह शोधपत्र मुंबई की इमारतों के भित्तिशिल्प की एक विस्तृत छानबीन करेगा, जिसमें सम्प्रेषण का निर्माण, नवीनीकरण के प्रक्रिया, और स्थानीय भूमिका के प्रभावों का अध्ययन किया जाएगा। इसके अलावा, यह शोधपत्र उन संकेतों को उजागर करेगा जो संगठनात्मक, सामाजिक, और आर्थिक परिवर्तनों को दर्शाते हैं, जिनके बाद मुंबई की सार्वजनिक इमारतों की निर्माण और संरक्षण व्यवस्थाएं पर प्रभाव पड़ता है।

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Published

2022-10-11

How to Cite

[1]
“मुंबई की सार्वजनिक इमारतों के भित्तिशिल्प: एक सांस्कृतिक निवेश: मुंबई की सार्वजनिक इमारतों के भित्तिशिल्प: संकेत, संरक्षण और समाज का प्रभाव”, JASRAE, vol. 19, no. 5, pp. 435–438, Oct. 2022, Accessed: Sep. 19, 2024. [Online]. Available: https://ignited.in/index.php/jasrae/article/view/14113

How to Cite

[1]
“मुंबई की सार्वजनिक इमारतों के भित्तिशिल्प: एक सांस्कृतिक निवेश: मुंबई की सार्वजनिक इमारतों के भित्तिशिल्प: संकेत, संरक्षण और समाज का प्रभाव”, JASRAE, vol. 19, no. 5, pp. 435–438, Oct. 2022, Accessed: Sep. 19, 2024. [Online]. Available: https://ignited.in/index.php/jasrae/article/view/14113