भारत में सुशासन और चुनौतियाँ

भारत में सुशासन: लोक कल्याण और चुनौतियाँ

Authors

  • Dr. Laxmi Kumari

Keywords:

सुशासन, चुनौतियाँ, लोकतान्त्रिक प्रणाली, राज्य प्रशासन, लोक कल्याण, न्याय, पारदर्शिता, भ्रष्टाचार, राम राज्य, पुलिस राज्य

Abstract

वर्तमान में लोकतान्त्रिक प्रणाली पर आधरित राज्य प्रशासनिक व राजनैतिक कार्यों के अलावा लोक कल्याणकारी कार्य भी करते है। जिसमें सुशासन की धारणा का खास महत्व है। भारत में भी लोक कल्याण के तहत सामाजिक, आर्थिक, राजनैतिक न्याय प्रदान करने के अलावा जनता को अन्य कई महत्वपूर्ण सुविधाएँ मुहैया कराने की कौशिश की है। उन्हीं में से एक है सुशासन। सुशासन माने अच्छे शासक को जनता की उम्मीदों पर प्रत्येक स्तर पर खरा उतरे और राजनैतिक व सामाजिक दृष्टि से सबल हो। भारत में भी सुशासन की प्राप्ति के लिए संभावनाएँ बेहतर है। लेकिन चुनौतियाँ भी उतनी ही संख्यां में मौजूद है। प्राचीन काल से ही चली आ रही राम राज्य की अवधारणा से प्रतीत होता है कि ये वर्तमान सुशासन की धारणा का ही पर्याय है। आजकल के राज्य भी पुलिस राज्य की धारणा से आगे बढ़कर सुशासन के लिए उतरदायी सरकार, पारदर्शिता, सामाजिक न्याय, जवाबदेही, भ्रष्टाचार की रोकथाम आदि कदम उठा रही है।

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Published

2018-12-01

How to Cite

[1]
“भारत में सुशासन और चुनौतियाँ: भारत में सुशासन: लोक कल्याण और चुनौतियाँ”, JASRAE, vol. 15, no. 12, pp. 392–395, Dec. 2018, Accessed: Jun. 27, 2025. [Online]. Available: https://ignited.in/index.php/jasrae/article/view/9268

How to Cite

[1]
“भारत में सुशासन और चुनौतियाँ: भारत में सुशासन: लोक कल्याण और चुनौतियाँ”, JASRAE, vol. 15, no. 12, pp. 392–395, Dec. 2018, Accessed: Jun. 27, 2025. [Online]. Available: https://ignited.in/index.php/jasrae/article/view/9268