हनुमान गढ़ व श्रीगंगानगर जिलों का कृषि पर आधारित औधोगिक विकास का अध्य्यन
अध्ययन: हनुमान गढ़ व श्रीगंगानगर जिलों में कृषि पर आधारित औधोगिक विकास और संभावित सम्प्रेषण
Keywords:
हनुमान गढ़, श्रीगंगानगर, कृषि, औधोगिक विकास, मरूस्थलीय प्रदेश, ऊन उद्योग, कालीन, नमदे, वस्त्रों की छपाई, रंगाईAbstract
औद्योगिक दृष्टि से मरूस्थलीय प्रदेश पिछड़ा हुआ है। अधिकांशतः मध्यम श्रेणी के उद्योग एवं लघु उद्योग ही यहाँ विकसित हुए है। ऊन उद्योग, कालीन, नमदे, वस्त्रों की छपाई, रंगाई, जूतियाँ बनाना, कसीदाकारी आदि प्रमुख कुटीर उद्योग हैं। जोधपुर, बीकानेर, पाली, गंगानगर, हनुमानगढ़, में केन्द्रित है। मकराना संगमरमर उद्योग का केन्द्र है। सामान्यतया यह प्रदेश औद्योगिक दृष्टि से विकसित नहीं है किन्तु भविष्य में विकास की पर्याप्त सम्भावनाएं हैं।Published
2018-12-01
How to Cite
[1]
“हनुमान गढ़ व श्रीगंगानगर जिलों का कृषि पर आधारित औधोगिक विकास का अध्य्यन: अध्ययन: हनुमान गढ़ व श्रीगंगानगर जिलों में कृषि पर आधारित औधोगिक विकास और संभावित सम्प्रेषण”, JASRAE, vol. 15, no. 12, pp. 704–707, Dec. 2018, Accessed: Jun. 26, 2025. [Online]. Available: https://ignited.in/index.php/jasrae/article/view/9334
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Articles
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[1]
“हनुमान गढ़ व श्रीगंगानगर जिलों का कृषि पर आधारित औधोगिक विकास का अध्य्यन: अध्ययन: हनुमान गढ़ व श्रीगंगानगर जिलों में कृषि पर आधारित औधोगिक विकास और संभावित सम्प्रेषण”, JASRAE, vol. 15, no. 12, pp. 704–707, Dec. 2018, Accessed: Jun. 26, 2025. [Online]. Available: https://ignited.in/index.php/jasrae/article/view/9334